17. मिल-जुलकर

उद्देश्य: छात्रों को परिवार में मिल-जुलकर रहने के महत्व से रूबरू कराना।
समय: कम से कम दो पीरियड अथवा शिक्षक के संतुष्ट होने तक

कहानी:
एक व्यक्ति के चार बेटे थे। वे आपस में खूब झगड़ा करते थे। वह व्यक्ति उन्हें खूब समझाता, परंतु वे कुछ भी न समझते। जब बातों के द्वारा वह अपने बच्चों के झगड़ों को रोकने में सफल नहीं रहा तो उसने कुछ प्रयोग करके इसका समाधान करने का निर्णय लिया।
एक दिन उसने अपने बेटों से कहा कि वह उसे लकड़ियों का एक बंडल लाकर दें। जब उन्होंने ऐसा किया तो उसने उनमें से प्रत्येक के हाथों में वह बंडल देकर उसे तोड़ने के लिए कहा। उन्होंने अपनी पूरी ताकत से कोशिश की और ऐसा करने में वे सफल नहीं हो पाए। उसने अगली बार बंडल खोला और एक-एक करके लकड़ियों को अलग-अलग किया और फिर उन लकड़ियों को अपने बेटों के हाथों में देकर उन्हें तोड़ने के लिए कहा। इस बार उन्होंने उन लकड़ियों को आसानी से तोड़ दिया।
अब वह व्यक्ति अपने बेटों से बोला, "बच्चों यदि तुम मिल-जुलकर एक रहोगे और एक-दूसरे की सहायता करने के लिए एकजुट रहोगे तो तुम अपने दुश्मनों के सभी प्रयासों को इस बंडल की तरह मज़बूत रहकर विफल कर सकते हो। यदि तुम आपस में बँटे रहोगे तो आसानी से टूट जाओगे और लोग तुम्हें नुकसान पहुँचा सकते हैं। ”

चर्चा के लिए प्रश्न: 
1. परिवार कब टूटते हैं जब पैसा नहीं होता या आपस में एकता नहीं होती?
2. चाहे क्रिकेट टीम हो या स्कूल की कोई खेल या म्यूज़िक आदि की टीम हो, भले ही उसमें कितने ही प्रतिभावान खिलाड़ी क्यों ना हो, क्या वह बिना एकता के कभी जीत सकती है?
3. क्या आप के साथ कभी ऐसा हुआ है जब आप मिल-जुलकर काम नहीं कर पाए और उसका नुकसान आपको उठाना पड़ा? ऐसा कोई उदाहरण दें और यह भी चर्चा करें के तब क्या निष्कर्ष निकला।
4. कब-कब आपने परिवार में मिलकर रहने से काम पूरे होते देखें, उदाहरण के साथ बताएँ।

 घर जाकर देखो, पूछो, समझो (विद्यार्थियों के लिए): अपने आस पड़ोस से ऐसे उदाहरण इकट्ठे करो जिनमें आपको मिल-जुलकर रहने का महत्व नज़र आता है। परिवार में भी इस विषय पर चर्चा करो।

दूसरा दिन: 
कहानी पर एक बार पूरी तरह से कक्षा में पुनरावृत्ति की जाए। कहानी की पुनरावृत्ति विद्यार्थियों द्वारा की जाए, आवश्यकता होने पर शिक्षक उसमें सहयोग कर सकते हैं। पहले दिन के चिंतन के प्रश्नों का प्रयोग शेष विद्यार्थियों के लिए पुन: किया जा सकता है।

चर्चा के लिए कुछ अन्य प्रश्न: 
1. किस प्रकार आप विद्यालय में मिल-जुलकर काम करते हैं और कार्य करने में सफल हो पाते हैं?
2. अपने गली मोहल्ले में मिलजुलकर किए गए कार्यों को साझा करें।

चर्चा की दिशा: यदि हम अपने परिवार, समाज, देश और इस धरती पर मिल-जुलकर रहें तो जीवन सुखी हो सकता है, क्योंकि सभी मानव सुख से जीना चाहते हैं और अपनेपन के साथ अखंड होकर जीने में ताक़त है और सुख भी है।

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  1. अलेक्जेंडर और डायोगनीज
  2. मन के अंदर महल
  3. राबिया की सूई
  4. क्या असली तो क्या नकली
  5. कितनी ज़मीन
  6. अहंकार का कमरा
  7. पगड़ी
  8. मेरी पहचान
  9. अरुणिमा सिन्हा
  10. सुकरात के तीन सवाल
  11. तीन मज़दूर तीन नज़रिए
  12. निर्मल पानी
  13. कौन बोल रहा है
  14. पतंग की डोर 
  15. बड़ा आदमी
  16. भाई है बोझ नहीं 
  17. मिल-जुलकर 
  18. दूध में चीनी

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