19. गिफ्ट रैप

उद्देश्य: विद्यार्थियों का ध्यान वस्तुओं की सुंदरता से हटा कर वस्तुओं की उपयोगिता की ओर ले जाना है।
समय: कम से कम दो दिन अथवा शिक्षक के संतुष्ट होने तक

कक्षा की शुरुआत दो-तीन मिनट श्वास पर ध्यान देने की प्रक्रिया से की जाए।

कहानी
इरफान का जन्मदिन था। मीरा,पुनीत,गुरमीत,जॉन सभी इरफान के घर में इकठ्ठा हुए।इरफान की मम्मी ने बहुत सारे व्यंजन बनाये थे। सभी दोस्तों को पार्टी में खूब आनन्द आ रहा था।इरफान के बड़े भैया ने उन सब के मनोरंजन के लिए कई खेल भी तैयार किए हुए थे ।पास ही के कमरे में कुछ गिफ्ट पैक करके रखे हुए थे। कोई अखबार में लपेटा हुआ था, कोई रंगीन कागज़ में तो कोई पन्नी में। गुरमीत का ध्यान बार बार वहीं जा रहा था। वह सोच रहा था कि हो न हो इनमे सब बच्चों के लिये रिटर्न गिफ्ट ही होंगे।वह बार बार इन्हें देख रहा था और उसने मन ही मन में सोच लिया कि वह सबसे रंगीन वाला पैकेट ही लेगा।
पार्टी में खूब मनोरंजन चल रहा था।तभी बड़े भैया ने आवाज़ लगाई,”चलो अब सब मुझ से एक एक पैकेट ले लो,इसमें तुम्हारे लिये उपहार हैं।
सभी बच्चे उत्सुकतापूर्वक उनके आसपास आकर खड़े हो गए।
भैया ने सभी को एक - एक पैकेट दे दिया ! गुरमीत को अखबार में लिपटा गिफ्ट मिला। गुरमीत को पता था कि सभी पैकेटों में एक जैसा ही गिफ्ट दिया गया होगा , परन्तु जाने क्यों अपना गिफ्ट पाकर वह कुछ खुश नहीं लग रहा था।।

चर्चा की दिशा:
आज हम सब किसी भी वस्तु का चुनाव करते समय उसकी उपयोगिता को छोड़ उसकी सुन्दरता एवं बाहरी दिखावे से प्रभावित हो जाते हैं और सभी वस्तु की उपयोगिता पर ध्यान न दे कर उसके बाहरी सौंदर्य को बढ़ाने में प्रयासरत हो जाते हैं। ऐसे में आवश्यक है कि हम चीज़ों की उपयोगिता के कारण उन्हें महत्व दें और उनकी प्रशंसा करें।उपयोगिता केवल वस्तुओं की ही नहीं बल्कि हर मानव की भी है। किसी की उपयोगिता को पहचानना और उसे महत्व देना भी ज़रूरी है क्योंकि सभी अपनी उपयोगिता जानकर प्रसन्न होते हैं।

चर्चा के लिए प्रश्न:
1. जब आप दुकान पर अपने लिए पेन खरीदने जाते हैं तो पेन का चुनाव करते समय आप किन किन बातों का ध्यान रखते हैं?
2. अपने जीवन से एक ऐसा उदाहरण साझा करें जब आपने या आपके घर के किसी सदस्य ने कोई वस्तु खरीदते समय उसके सौंदर्य पर ज्यादा ध्यान दिया हो।
3. क्या आप पैकिंग को अधिक महत्व देते हो या वस्तु की क्वालिटी को? क्यों?
4. क्या आप किसी व्यक्ति की ड्रेस को अधिक महत्व देते हो या उसके गुणों को ? क्यों?

घर जाकर देखो ,पूछो, समझो(विद्यार्थियों के लिए):
अपने भाई बहन के साथ मिलकर सूची बनाओ कि कौन कौन सी चीज़ों के बाहरी सौंदर्य से आपको फर्क नहीं पड़ता ।

कक्षा के अंत में 1- 2 मिनट शांति से बैठकर आज की चर्चा के निष्कर्ष के बारे में विचार करें।

दूसरा दिन:

कक्षा की शुरुआत दो-तीन मिनट श्वास पर ध्यान देने की प्रक्रिया से की जाए।

पिछले दिन की कहानी की पुनरावृत्ति की जाए। कहानी की पुनरावृत्ति विद्यार्थियों द्वारा की जाए, आवश्यकता होने पर शिक्षक उसमें सहयोग कर सकते हैं।
घर से मिले फीडबैक के आधार पर पिछले दिन के चर्चा के प्रश्नों को ध्यान में रखते हुए विद्यार्थी छोटे समूहों में बातचीत करेंगे।
पहले दिन के चर्चा के प्रश्नों का प्रयोग शेष विद्यार्थियों(जिन्होंने पहले दिन उत्तर न दिए हों)के लिए पुनः किया जा सकता है।

चर्चा के लिए कुछ अन्य प्रश्न:
1. किसी ऐसी वस्तु का उदाहरण दें जिसे आपने सुंदर होने की वजह से खरीदा तो था पर वह आपके लिए उपयोगी सिद्ध नहीं हुई।
2. वस्तु विशेष का उदाहरण देते हुए चर्चा करें कि उसके सुंदर दिखने या न दिखने से उसकी उपयोगिता पर फ़र्क पड़ता है या नहीं पड़ता।

कक्षा के अंत में 1- 2 मिनट शांति से बैठकर आज की चर्चा के निष्कर्ष के बारे में विचार करें।

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  1. माँ का चश्मा
  2. समझा तो जाना
  3. राजू की नीयत
  4. असमंजस
  5. समस्या या समाधान
  6. छोटी-सी पर मोटी-सी बात
  7. रूपम की पहिया कुर्सी
  8. नीता का पेन
  9. शाबाशी की कलम
  10. ख़ुश व्यक्ति ख़ुशी बाँटता है
  11. मैं हूँ ना
  12. मेरे प्यारे पापा
  13. तैयारी
  14. आओ पिकनिक चलें
  15. मन की बात
  16. मैन विद ए स्टिकर
  17. तराना का छाता
  18. फ़र्क तो पड़ता है
  19. गिफ्ट रैप
  20. रोड ब्लॉक

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